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Authored by, Amay Mathur | Senior Editor
Amay Mathur is a business news reporter at Chegg.com. He previously worked for PCMag, Business Insider, The Messenger, and ZDNET as a reporter and copyeditor. His areas of coverage encompass tech, business, strategy, finance, and even space. He is a Columbia University graduate.
आज के समय में छात्रों पर ऑनलाइन और ऑफलाइन पढ़ाई का अत्यधिक दबाव है। ऐसे में खेल तनाव से मुक्ति पाने का सबसे अच्छा माध्यम है। मोबाइल, टीवी और कंप्यूटर पर बढ़ते समय बिताने की आदत के इस दौर में, खेलों का महत्व पहले से कहीं अधिक बढ़ गया है। भारत एक ऐसा देश है जहाँ हर गली और मोहल्ले में अलग-अलग खेलों का आनंद लिया जाता है। खेल न केवल मनोरंजन का जरिया हैं, बल्कि शारीरिक और मानसिक विकास के लिए भी बेहद जरूरी हैं।
आज के बच्चे, युवा सभी यह तो कहते हैं कि mera priya khel kabaddi या mera priya khel cricket है पर खेलने के नाम पर मोबाइल पर ही खेल लेते हैं। मेरा प्रिय खेल इस लेख में मैं अपने दो पसंदीदा खेलों – कबड्डी और क्रिकेट – के बारे में चर्चा करेंगे, जो हमारे दिल के सबसे करीब हैं।
खेल न केवल शारीरिक स्वास्थ्य को मजबूत बनाते हैं, बल्कि यह हमारे मानसिक विकास में भी अहम भूमिका निभाते हैं। यह हमें अनुशासन, टीम वर्क और साहस का पाठ सिखाते हैं। मेरा प्रिय खेल कबड्डी है, जो भारत का पारंपरिक खेल है। कबड्डी में शारीरिक ताकत और मानसिक चपलता का अद्भुत संगम देखने को मिलता है। इस खेल में खिलाड़ियों का आपसी तालमेल और त्वरित निर्णय लेने की क्षमता महत्वपूर्ण होती है। अनूप कुमार और अजय ठाकुर जैसे खिलाड़ियों ने इस खेल के प्रति मेरी रुचि को और बढ़ाया है।
इसके अलावा, मुझे क्रिकेट भी बेहद पसंद है। यह भारत में सबसे लोकप्रिय खेल है, जिसने हर वर्ग और उम्र के लोगों को आकर्षित किया है। सचिन तेंदुलकर, एमएस धोनी और विराट कोहली जैसे महान खिलाड़ियों ने इस खेल को नई ऊँचाइयों तक पहुँचाया है। क्रिकेट केवल एक खेल नहीं है, बल्कि यह एक भावना है, जो लाखों भारतीयों को जोड़ता है।
खेल न केवल मनोरंजन प्रदान करते हैं, बल्कि यह हमें लक्ष्य प्राप्त करने की प्रेरणा देते हैं। कबड्डी और क्रिकेट जैसे खेलों ने मुझे अनुशासन, मेहनत और समर्पण का महत्व समझाया है। यह खेल हमें सिखाते हैं कि कड़ी मेहनत और एकजुटता से किसी भी मुश्किल लक्ष्य को हासिल किया जा सकता है।
प्रस्तावना:
खेल हमारे जीवन का अभिन्न हिस्सा हैं। यह न केवल हमारे शरीर को स्वस्थ रखते हैं, बल्कि हमारे मानसिक विकास और अनुशासन को भी प्रोत्साहित करते हैं। खेल हमें चुनौतियों का सामना करना, टीम वर्क और साहस का महत्व सिखाते हैं। मेरा प्रिय खेल कबड्डी है, जो भारत का पारंपरिक खेल है। इसके अलावा, मुझे क्रिकेट भी बहुत पसंद है, जो भारत में सबसे लोकप्रिय खेल है। इन दोनों खेलों ने मेरे जीवन में अनुशासन और प्रेरणा का अद्भुत संगम जोड़ा है।
मेरा प्रिय खेल कबड्डी
कबड्डी एक ऐसा खेल है, जो शारीरिक ताकत और मानसिक चपलता का बेहतरीन मिश्रण है। यह खेल भारत के गांवों से शुरू होकर आज अंतरराष्ट्रीय स्तर पर लोकप्रिय हो चुका है। इसे खेलने के लिए छोटे मैदान और दो टीमों की आवश्यकता होती है। हर टीम में 7-7 खिलाड़ी होते हैं। खिलाड़ी को “कबड्डी-कबड्डी” का उच्चारण करते हुए विपक्षी पाले में जाकर वहां के खिलाड़ियों को छूकर अपने पाले में लौटना होता है।
इस खेल में त्वरित निर्णय लेने और सामूहिक तालमेल का महत्व है। अनूप कुमार, अजय ठाकुर और प्रदीप नरवाल जैसे खिलाड़ियों ने कबड्डी को विश्व स्तर पर पहचान दिलाई है। कबड्डी न केवल मनोरंजन का साधन है, बल्कि यह हमें अनुशासन, साहस और तेजी से सोचने की क्षमता सिखाता है। इस खेल ने मुझे शारीरिक फिटनेस और टीम वर्क का महत्व समझाया है।
मेरा प्रिय खेल क्रिकेट
क्रिकेट भारत में सबसे लोकप्रिय खेल है। इसे “जेंटलमैन गेम” भी कहा जाता है। यह खेल अंग्रेजों द्वारा भारत में लाया गया, लेकिन आज यह भारतीय संस्कृति का अभिन्न हिस्सा बन चुका है। क्रिकेट का मैदान बड़ा होता है और इसमें दो टीमें होती हैं, जिनमें 11-11 खिलाड़ी होते हैं। खेल का उद्देश्य अधिक से अधिक रन बनाना और विरोधी टीम को आउट करना है।
सचिन तेंदुलकर, एमएस धोनी, विराट कोहली जैसे खिलाड़ियों ने भारतीय क्रिकेट को नई ऊँचाइयों तक पहुँचाया है। आईपीएल जैसी प्रतियोगिताओं ने क्रिकेट को और भी लोकप्रिय बना दिया है। क्रिकेट हमें रणनीति बनाने, टीम वर्क और धैर्य रखने का महत्व सिखाता है। इस खेल ने मुझे जीवन में अनुशासन और समर्पण का महत्व समझाया है।
खेलों का महत्व
खेल न केवल शारीरिक फिटनेस को बढ़ावा देते हैं, बल्कि यह मानसिक विकास, अनुशासन और नेतृत्व क्षमता को भी मजबूत बनाते हैं। यह हमें टीम वर्क, त्वरित निर्णय लेने और एक स्वस्थ जीवन शैली को अपनाने की प्रेरणा देते हैं। खेलों के माध्यम से हम करियर विकल्प भी तलाश सकते हैं, जैसे कि खिलाड़ी बनना, कोचिंग देना या खेल प्रबंधन करना।
उपसंहार
कबड्डी और क्रिकेट दोनों ही खेल मेरे जीवन में प्रेरणा का स्रोत हैं। कबड्डी ने मुझे शारीरिक ताकत और टीम वर्क का महत्व सिखाया, जबकि क्रिकेट ने अनुशासन और धैर्य का पाठ पढ़ाया। खेल हमारे जीवन को स्वस्थ, संतुलित और प्रेरणादायक बनाते हैं। हमें अपने जीवन में किसी न किसी खेल को शामिल करना चाहिए, क्योंकि यह न केवल हमारा मनोरंजन करता है, बल्कि हमें जीवन के महत्वपूर्ण मूल्य भी सिखाता है।
खेल अब केवल मनोरंजन का माध्यम नहीं रहे, बल्कि यह एक शानदार करियर विकल्प के रूप में उभर चुके हैं। खेलों ने युवाओं को न केवल अपनी प्रतिभा दिखाने का अवसर दिया है, बल्कि एक सशक्त और स्थिर करियर का रास्ता भी प्रदान किया है। आइए, खेलों से जुड़े प्रमुख करियर विकल्पों पर विस्तार से चर्चा करें।
कबड्डी भारत का प्राचीन खेल है, जिसकी शुरुआत भारतीय ग्रामीण क्षेत्रों से हुई थी। यह खेल शारीरिक क्षमता, मानसिक संतुलन और त्वरित निर्णय लेने की कला का अद्भुत संगम है। कबड्डी की लोकप्रियता आज भारत के गांवों से लेकर अंतरराष्ट्रीय स्तर तक फैल चुकी है। यह खेल न केवल मनोरंजन का साधन है, बल्कि खिलाड़ियों के धैर्य और साहस की परीक्षा भी लेता है।
यह खेल हमें अनुशासन में रहना सिखाता है इस खेल को खेलने से भाईचारे की भावना पैदा होती है शायद इसीलिए इस खेल को भारत में प्राचीन काल से ही खेला जाता रहा है। Kabaddi को हमारे देश में अलग-अलग नामों से जाना जाता है जैसे दक्षिण भारत में “चेडुगुडु” और पूर्वी भारत में “हु तू तू” के नाम से भी जानते है.
भारत में कबड्डी ने विश्व स्तर पर अपनी पहचान बनाई है, और इसके पीछे इन खिलाड़ियों की कड़ी मेहनत और अद्वितीय प्रदर्शन का बड़ा योगदान है। आइए इन दिग्गज खिलाड़ियों को विस्तार से जानें:
अनूप कुमार भारतीय कबड्डी टीम के सबसे सफल कप्तानों में से एक रहे हैं, जिनकी रेडिंग शैली और शांत स्वभाव ने उन्हें ‘कैप्टन कूल’ का खिताब दिलाया। 2016 में भारतीय टीम को कबड्डी विश्व कप जीतने में उनकी महत्वपूर्ण भूमिका रही।
अजय ठाकुर अपनी लंबी रेड्स और अद्वितीय कौशल के लिए मशहूर हैं, जिन्हें ‘फीनिक्स’ के नाम से भी जाना जाता है। 2016 कबड्डी विश्व कप और 2014 एशियाई खेलों में उनके शानदार प्रदर्शन ने भारतीय टीम को गौरव दिलाया।
पवन सहरावत एक आक्रामक रेडर के रूप में जाने जाते हैं, जिन्होंने प्रो कबड्डी लीग में अपने असाधारण प्रदर्शन से कबड्डी में उन्हें ‘हाई-फ्लायर’ के नाम से पहचाना जाता है। 2019 में उन्होंने प्रो कबड्डी लीग में सबसे अधिक अंक अर्जित कर बेंगलुरु बुल्स को विजेता बनाने में अहम भूमिका निभाई।
दीपक हूडा भारतीय कबड्डी टीम के सबसे भरोसेमंद और कुशल खिलाड़ियों में से एक हैं। एक बेहतरीन ऑलराउंडर के रूप में उनकी भूमिका हर मैच में बेहद महत्वपूर्ण रही है। 2016 के कबड्डी विश्व कप और 2018 के एशियाई खेलों में उनके शानदार प्रदर्शन ने भारतीय टीम को सफलता दिलाई।
मनजीत छिल्लर को कबड्डी के इतिहास में सर्वश्रेष्ठ डिफेंडरों में से एक माना जाता है, जो अपनी टैकलिंग क्षमता और उत्कृष्ट नेतृत्व कौशल के लिए प्रसिद्ध हैं। उन्होंने प्रो कबड्डी लीग में सबसे अधिक टैकल पॉइंट्स अर्जित किए हैं, जो उनकी डिफेंस में महारत को दर्शाता है।
राहुल चौधरी, जिन्हें ‘रेड मशीन’ के नाम से जाना जाता है, कबड्डी में सबसे अधिक अंक हासिल करने वाले खिलाड़ियों में से एक हैं। 2016 के कबड्डी विश्व कप और प्रो कबड्डी लीग में उनके शानदार प्रदर्शन ने दर्शकों का दिल जीत लिया।
प्रदीप नरवाल, जिन्हें ‘डुबकी किंग’ के नाम से जाना जाता है, अपनी अनोखी रेडिंग शैली के लिए मशहूर हैं, जिसे ‘डुबकी’ कहा जाता है। प्रदीप ने 2017 और 2018 में पटना पाइरेट्स को लगातार प्रो कबड्डी लीग जीतने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई।
कबड्डी का इतिहास प्राचीन वैदिक काल तक जाता है। शुरुआत में इसे शारीरिक शक्ति और कौशल दिखाने के लिए खेला जाता था। यह खेल अपने रोमांच और चुनौतीपूर्ण प्रकृति के कारण लोकप्रिय हुआ।
वर्ष 1938 में कबड्डी को भारतीय ओलंपिक खेलों में पहली बार शामिल किया गया। इसके बाद, 1950 में अखिल भारतीय कबड्डी महासंघ की स्थापना ने इस खेल को संगठित रूप से बढ़ावा दिया।
कबड्डी को अंतरराष्ट्रीय पहचान 1990 में मिली, जब इसे बीजिंग एशियाई खेलों में शामिल किया गया। इसके बाद यह एक प्रतिस्पर्धात्मक खेल के रूप में विश्व स्तर पर लोकप्रिय हो गया।
क्रिकेट भारत में सबसे लोकप्रिय खेल है। यह खेल 18वीं शताब्दी में अंग्रेजों द्वारा लाया गया, लेकिन अब यह भारतीय संस्कृति का अभिन्न हिस्सा बन चुका है। हालाँकि हॉकी भारत का राष्ट्रीय खेल है, फिर भी क्रिकेट ने अपनी अद्भुत लोकप्रियता से हर आयु वर्ग को आकर्षित किया है। आईपीएल जैसे टूर्नामेंट ने इसे और भी रोमांचक बना दिया है।
भारत ने कई महान क्रिकेट खिलाड़ी दिए हैं, जिनमें शामिल हैं:
सचिन तेंदुलकर भारतीय क्रिकेट के सबसे महान बल्लेबाज माने जाते हैं।उन्होंने अपने करियर में 100 अंतरराष्ट्रीय शतक लगाए और कई रिकॉर्ड बनाए।
एमएस धोनी की कप्तानी में भारत ने 2007 का टी20 वर्ल्ड कप, 2011 का वनडे वर्ल्ड कप और 2013 की चैंपियंस ट्रॉफी जीती। वह अपने शांत स्वभाव और शानदार फिनिशिंग के लिए मशहूर हैं।
विराट कोहली को उनके आक्रामक खेल और निरंतरता के लिए जाना जाता है। वह वनडे और टेस्ट क्रिकेट में सबसे तेज़ शतकों का रिकॉर्ड रखते हैं।
कपिल देव ने 1983 में भारतीय टीम को पहला वर्ल्ड कप जिताया। वह शानदार ऑलराउंडर और तेज गेंदबाज थे।
रोहित शर्मा ने वनडे क्रिकेट में 3 दोहरे शतक लगाए हैं, जो एक विश्व रिकॉर्ड है। उनकी बल्लेबाजी शैली उन्हें आधुनिक क्रिकेट का एक महान खिलाड़ी बनाती है।
युवराज सिंह ने 2007 टी20 वर्ल्ड कप में स्टुअर्ट ब्रॉड के खिलाफ 6 गेंदों में 6 छक्के लगाए। वह 2011 वर्ल्ड कप के मैन ऑफ द टूर्नामेंट भी रहे।
क्रिकेट की शुरुआत 16वीं शताब्दी में इंग्लैंड में हुई थी। इसे पहली बार एक ग्रामीण खेल के रूप में खेला गया। 18वीं शताब्दी में यह संगठित खेल बना और 19वीं शताब्दी में इंग्लैंड से अन्य देशों में फैलने लगा। 1844 में पहला अंतरराष्ट्रीय मैच अमेरिका और कनाडा के बीच खेला गया।
भारत में क्रिकेट का आगमन 18वीं शताब्दी में हुआ, जब अंग्रेजों ने इसे अपनी कॉलोनियों में खेलना शुरू किया। 1932 में भारतीय टीम ने इंग्लैंड के खिलाफ पहला टेस्ट मैच खेला। इसके बाद 1983 में कपिल देव की कप्तानी में भारत ने पहला वनडे वर्ल्ड कप जीता।
आज क्रिकेट तीन प्रमुख प्रारूपों (टेस्ट, वनडे और टी20) में खेला जाता है। यह भारत सहित दुनिया के कई देशों में सबसे लोकप्रिय खेल बन चुका है।
खेल शारीरिक स्वास्थ्य को मजबूत बनाने के साथ-साथ मानसिक संतुलन को भी बनाए रखते हैं। यह तनाव को कम करते हैं और आत्मविश्वास को बढ़ावा देते हैं।
खेल टीम में खेलने की आदत डालते हैं और नेतृत्व क्षमता का विकास करते हैं। यह हमें दूसरों के साथ मिलकर काम करना और कठिन परिस्थितियों में सही निर्णय लेना सिखाते हैं।
खेल अनुशासन, समय प्रबंधन और स्वस्थ आदतों को अपनाने में मदद करते हैं। नियमित खेल-कूद से व्यक्ति एक सक्रिय और स्वस्थ जीवन जी सकता है।
खेल हमारे जीवन को स्वस्थ, अनुशासित और प्रेरणादायक बनाते हैं। मेरा प्रिय खेल कबड्डी और क्रिकेट हैं, जिन्होंने मुझे मेहनत, अनुशासन और टीम वर्क का महत्व सिखाया। खेलों के बिना जीवन अधूरा लगता है, क्योंकि ये न केवल शारीरिक विकास करते हैं, बल्कि जीवन के हर पहलू में सफलता पाने का मार्ग भी दिखाते हैं। मेरा प्रिय खेल ब्लॉग में mera priya khel kabaddi, मेरा प्रिय खेल पर निबंध हिंदी 10 lines, mera priya khel cricket पर पूरी जानकारी दी गई है।
प्रिय खेल पर निबंध लिखते समय, सबसे पहले उस खेल का नाम और उसकी विशेषताएँ बताएं। फिर उस खेल को क्यों पसंद करते हैं, उसके नियम, लाभ और व्यक्तिगत अनुभव साझा करें। अंत में, खेल के महत्व पर विचार करें।
भारत में विभिन्न प्रकार के खेल खेले जाते हैं, जिनमें क्रिकेट सबसे लोकप्रिय है। इसके अलावा, फुटबॉल, हॉकी, बैडमिंटन, कबड्डी, वॉलीबॉल और कुश्ती भी बड़े पैमाने पर खेले जाते हैं। भारतीय खेलों में एथलेटिक्स, टेबल टेनिस और स्क्वैश जैसे खेल भी लोकप्रिय हैं। पारंपरिक खेल जैसे गिल्ली-डंडा, पंचवली और कच्चा-लड्डू भी ग्रामीण इलाकों में खेले जाते हैं।
भारत में सबसे प्रिय खेल क्रिकेट है। यह खेल देशभर में बहुत लोकप्रिय है, और लोग इसे खेलने के साथ-साथ बड़े उत्साह से देखते भी हैं, खासकर आईपीएल और अंतरराष्ट्रीय मैचों के दौरान।
सबसे फेमस खेल फुटबॉल (Soccer) है। यह खेल विश्वभर में सबसे ज्यादा खेला और देखा जाता है, विशेष रूप से यूरोप, दक्षिण अमेरिका और एशिया में।
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